यमुना से हुआ ताजमहल पर हमला; हो सकता है बड़ा नुकसान

वैन (ब्रज किशोर शर्मा - आगरा, उत्तर प्रदेश) :: मोहब्बत की निशानी ताजमहल की सुरक्षा और देखरेख में लगे अधिकारियों की नींद आजकल उड़ी हुई है। वजह है, गोल्डी-काइरो-नोमस। जी हां, यह नाम किसी विदेशी व्यक्ति का नहीं अपितु गोल्डी-काइरो-नोमस जो कि एक विशेष कीड़ा है वह लगातार ताजमहल पर हमला कर रहा है। ताज के सफेद पत्थर को बदरंग बना रहा है। जिसके चलते जगह-जगह से ताजमहल हरा दिखाई देने लगा है। गोल्डी काइरो नोमस के कहर का अंदाजा इस बात से ही लगाया जा सकता है कि इसने ताजमहल के सफेद पत्थर, पच्चीकारी और नक्काशी को बदरंग बना दिया है। ताजमहल पर गढ़ी गई सुंदर कलाकृतियों को भी बदसूरत कर दिया है। गोल्डी-काइरो-नोमस दलदली जगह में पैदा होता है। ताजमहल यमुना के किनारे बना हुआ है। जैसे ही गर्मियों में पानी कम होता है और यमुना में कीचड़ और काई जैसी दलदल बनने लगती है तो गोल्डी-काइरो-नोमस तेजी से पनपने लगता है। यह काई के रंग जैसा ही हरे रंग का होता है। चिंता की बात यह है कि पहले गोल्डी-काइरो-नोमस गर्मी के समय ही ताज महल पर हमला बोलता था लेकिन इस बार सर्दियों मैं भी यह कीट ताजमहल की सुंदरता को प्रभावित कर रहा है। देखना दिलचस्प होगा कि सभी हमलावरों के हमले से पहले चौकन्ने रहने वाले ताज के सुरक्षा कर्मचारी और अधिकारी इस नये हमलावर से निपटने की रूपरेखा किस तरह तैयार करते हैं?

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