वैन (भगत तेवतिया / हरियाणा ब्यूरो) :: चीन में तेजी से फैल रहे कोरोना वायरस को लेकर करनाल में स्वास्थ्य विभाग हाई अलर्ट पर है। इस मामले को लेकर एनएचएम के मिशन निदेशक ने वीडियो कान्फ्रेंस कर निर्देश दिए कि चीन से आने वाले पैसेंजर पर निगरानी रखें और उसकी काउंसलिंग करें। अगर लक्षण दिखते है सैंपल लेकर पुणे लैब भेजें। नागरिक अस्पताल करनाल में कोरोना वायरस अलर्ट को देखते हुए आइसोलेशन वार्ड बनाया गया है। अगर कोई कोरोना वायरस लक्षण से संबंधित केस आता है तो उसे 28 दिन तक निगरानी में रखा जाए। इसके अलावा मरीज को मास्क तथा सभी चिकित्सकों को भी मास्क पहनने की हिदायतें दी गई।
सिविल सर्जन डॉ. अश्विनी आहुजा ने बताया कि कल्पना चावला राजकीय मेडिकल कॉलेज तथा नागरिक हस्पताल में वेंटीलेटर की सुविधा उपलब्ध है। किसी भी सांस की दिक्कत से आने वाले मरीज की सूचना तुरंत सिविल सर्जन कार्यालय में उपलब्ध करवाएं। डॉ. अश्विनी कुमार ने मिशन निदेशक को बताया कि अभी तक जिले में एन-1 व एच-1 का तथा कोरोना वाइरस का कोई केस रिपोर्ट नही हुआ है तथा स्वास्थ्य विभाग पूर्ण रूप से अलर्ट है। सभी सीएचसी व पीएचसी को भी अलर्ट किया स्वास्थ्य विभाग की ओर से नागरिक अस्पताल, सब डिवीजन अस्पताल, कम्यूनिटी हेल्थ सेंटर, प्राइमरी हेल्थ सेंटर के सीनियर मेडिकल अफसरों व संबंधित पदाधिकारियों को एहतियात बरतने के निर्देश दिए हैं। सभी को ई-मेल से केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय द्वारा जारी की गई एडवाइजरी भेजी गई है।
बचाव के लिए भीड़भाड़ में जाने से बचें वायरस से इससे बचने के लिए भीड़भाड़ वाली जगहों में जाने से परहेज करना चाहिए। साफ-सफाई रखने, हाथों को अच्छी तरह से धोएं, खांसी-जुकाम, बुखार वाले मरीजों को घर पर ही आइसोलेट करने के लिए कहा गया है। लोगों को गलेलगने और हाथ मिलाने से बचना चाहिए। अगर बीमारी ज्यादा दिखती है, तोचिकित्सक से जांच करवानी चाहिए।
डॉ. अश्विनी आहुजा ने बताया कि करनाल में कोरोना वायरस का कोई केस रिपोर्ट नहीं हुआ है। आज निसंग एरिया का कोई व्यक्ति है। जिसकी ट्रेवल हिस्ट्री चाइना की थी , पर उसे किसी भी तरह की कोई तकलीफ नहीं है। मिडिया में जो चल रहा है। उसे देखकर वह सलहा लेने के लिए आया था , परन्तु उसे किसी भी तरह के कोई सिम्टम नहीं है। इस लिए उसका सेम्पल नहीं भेज रहे फ़िलहाल उसे किसी भी तरह की कोई दिक्क्त नहीं है। ऐसे में अभी डरने की जरूरत नहीं है। हालांकि एहतियातन सरकारी स्वास्थ्य केंद्रों के सभी सीनियर मेडिकल अफसरोंव निजी अस्पतालों को अलर्ट किया गया। अभी तक जो जानकारी मिली है, उसकेअनुसार जिस तरह स्वाइन फ्लू फैलता है, वैसे ही कोरोना वायरस भी फैलता है।ऐसे में सभी अस्पतालों में पहले से ही आइसोलेशन वार्ड व फ्लू कार्नरबनाकर रखने के निर्देश दिए गए हैं।
वहीं, पलवल में भी कोरोना वायरस को लेकर स्वास्थय विभाग की एडवाईजरी जारी किए जाने के बाद पलवल स्वास्थ्य विभाग भी सजग हो गया है। वहीं लोगों में इसको लेकर भय और संशय का वातावरण बन गया है। इसी डर को समाप्त करने के लिए जिला चिकित्सा अधिकारी ने जिले में कार्यरत सभी प्रमुख सरकारी डॉक्टरों की मीटिंग लेकर आवश्यक दिशा निर्देश दिए हैं।
राष्ट्रीय स्तर पर पैर पसार रहे कोरोना वायरस को लेकर पलवल स्वास्थय विभाग विभाग ने लोगों के डर को मिटाने के लिए सजग होकर अपनी भूमिका निभाना शुरू कर दिया है। जिला चिकित्सा अधिकारी डॉ प्रदीप कुमार शर्मा का कहना है कि कोरोना वायरस का अभी तक कोई उपचार नहीं है। इससे डरने की भी कोई आवश्यकता नहीं है। उन्होंने कहा कि इस वायरस से तीन प्रतिशत मेटेलिटी (मौत) हो सकती है। उन्होंने कहा कि जिन लोगों को जुकाम या नमूनिया की शिकायत हो उन्हें चार-पांच दिन घर पर रहकर आराम करना चाहिए और इसका वायरस खुद ब खुद समाप्त हो जाएगा। कोई दवाई या उपचार करने की आवश्कता भी नहीं है। अगर किसी को जुकाम या निमोनिया की ज्यादा शिकायत हो। तो उसे तुरंत डॉक्टरों की सलाह लेनी चाहिए और ऐसे मरीजों को खासते या छीकते समय मुँह पर हाथ या रुमाल रखकर खाँसना व छींकना चाहिए। उन्होंने कहा कि निजी तथा सरकारी अस्पतालों, पीएचसी - सीएचसी पर नियुक्त डॉक्टरों को मास्क लगाकर काम करने के आदेश दिए गए है। साथ ही सभी को कहा गया है कि यदि कोई भी व्यक्ति चाईना से होकर आता है। तो उसकी सूचना हमें अवश्य दें। साथ ही उन्होंने बताया कि जिला स्तर पर अस्पताल में चार बैड का उच्च प्रतिरोधी क्षमता वाला वार्ड तैयार किया गया है। जहां पर वाइरस से संक्रमित रोगी को भर्ती कर उसका उपचार किया जाएगा। ताकि उसका वायरस अधिक न फ़ैल पाए।
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