राजस्थान से राम मंदिर के लिए पत्थर जाना शुरू; भाजपा अध्यक्ष बोले सौभाग्य की बात

वैन (हरीश पाठक - भरतपुर, राजस्थान) :: अयोध्या मुद्दे पर सुप्रीम कोर्ट के फैसले के बाद राम मंदिर बनने की राह खुल गयी है और राम मंदिर के निर्माण के लिए राजस्थान के भरतपुर स्थित बंशी पहाड़पुर का पत्थर वहां पहुंचाया जा रहा है। यह पत्थर विगत समय भी भारी मात्रा में मंदिर निर्माण के लिये पहुंचाया जा चुका है। बंशी पहाड़पुर से निकलने वाले पत्थर की गुणवत्ता काफी अच्छी और मजबूत होती है। इसकी उम्र हजारों वर्ष तक मानी जाती है, जो पानी पड़ने से ज्यादा निखरता है और हजारों वर्ष तक उसी रूप में कायम रहता है। जानकारी के मुताबिक मुताविक राम मंदिर निर्माण के लिए 4 घन फुट पत्थर की जरुरत है, जो बंशी पहाड़पुर से जा रहा है और यहां के लोगों में काफी ख़ुशी है कि उनके क्षेत्र के पत्थर राम मंदिर निर्माण के लिए काम में आ रहे हैं। यहां तक पत्थर कि नक्काशी करने वाले कारीगर भी काफी खुश हैं कि उनके द्वारा बनाये जाने वाले पत्थर राम मंदिर के काम में लिये जायेंगे। इस पत्थर में खास बात यह है कि इस पत्थर पर जितना पानी पड़ता है उतना ही इसमें निखार आता है और मजबूत होता है, जो हजारों वर्ष तक अपने रूप में बना रहता है। राम मंदिर पर सुप्रीम कोर्ट के आदेश के बाद मंदिर निर्माण के लिए पत्थर भेजने का काम तेज गति से शुरू हो गया है और कारीगर भारी संख्या में यहां मंदिर निर्माण के लिए काम आने वाले पत्थर की तराशी व नक्काशी करने में लगे हुए हैं। भरतपुर पहुंचे भाजपा के प्रदेश अध्यक्ष डॉ सतीश पूनिया ने वैन इंटरनेशनल न्यूज़ एजेंसी से बातचीत में बताया कि अयोध्या में भगवान राम का मंदिर बने यह राजस्थान व देश के करोड़ों लोगों की मंशा थी और सुप्रीम कोर्ट द्वारा एक संतुलित फैसला आया, जिसका सभी ने सम्मान किया। यह गर्व व गौरव की बात है कि राजस्थान की धरती जो भक्ति और शक्ति की धरती है, राजस्थान का कोई ना कोई अंश या कोई ना कोई कण किसी ना किसी धार्मिक व सनातन जगह लगा है। भगवान राम सभी की आस्था का प्रतीक है और सुप्रीम कोर्ट ने एक संतुलित फैसला लिया है। देश के सभी धर्मों व अनुयाइयों ने इसे स्वीकार भी किया है। यह सौभाग्य है कि राजस्थान का पत्थर राम मंदिर निर्माण के लिए जायेगा। जिसको तराशने का काम चल रहा है। यह पत्थर एक बड़े यज्ञ में काम में लाया जा रहा है जो युगों-युगों तक स्थापित रहेगा।

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